गाय को गले लगाने से मिलती है मानसिक शांति
नई दिल्ली। कोरोना की दूसरी लहर के बचाव के क्रम में देश के अनेक राज्यों में लॉकडाउन लगाया गया है। जिन राज्यों ने लॉकडाउन नहीं लगाया है, वहां भी कोरोना गाइडलाइन का सख्ती से पालन कराया जा रहा है। लॉकडाउन में लोग अपने घरों में ही कैद से हो गए हैं। ऐसे में डिप्रेशन और एंग्जायटी की समस्या भी आम होती जा रही है। हालांकि लोग अपने-अपने तरीकों से इससे जूझ रहे हैं लेकिन अमेरिकियों ने इसकी अनोखी तरकीब निकाली है।
यहां मानसिक शांति के लिए गाय को गले लगाया जा रहा है। कोरोना काल में अमेरिका में गाय को गले लगाने के लिए लोग पैसे दे रहे हैं। कांग्रेस नेता मिलिंद देवड़ा द्वारा ट्विटर पर शेयर किए गए एक वीडियो में बताया गया है कि अमेरिका में लोग गाय को गले लगाने के लिए एक घंटे के लिए 200 डॉलर तक का भुगतान कर रहे हैं। उन्होंने लिखा कि साफ है कि भारत अमेरिका से भी आगे है। यहां गायों को 3000 सालों से पूजा जा रहा है।
डॉक्टरों का कहना है कि गाय को गले लगाने का एहसास घर पर एक बच्चे या पालतू जानवर को पालने के समान है। एक हग हैप्पी हार्मोन ऑक्सीटोसिन, सेरोटोनिन और डोपामाइन को ट्रिगर करता है, जिससे कोर्टिसोल (तनाव हार्मोन) को कम करता है। यह तनाव के स्तर, चिंता और अवसाद के लक्षणों को कम करता है। गाय स्वभाव से शांत, कोमल और धैर्यवान होती हैं और गले लगाने वालों को जानवर उसके गर्म शरीर के तापमान, धीमी गति से दिल की धड़कन और बड़े आकार से फायदा होता है। यह सब शरीर के मेटाबोलिज्म, इम्यूनिटी और तनाव प्रतिक्रिया को रेगुलेट करने में मदद करता है।