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पेट्रोल और डीजल की कीमत में वृद्धि के खिलाफ कांग्रेस का हल्लाबोल

कांग्रेस ने पेट्रोल और डीजल की कीमत में वृद्धि के खिलाफ पंजाब और हरियाणा में पेट्रोप पंपों पर सांकेतिक विरोध प्रदर्शन कर बढ़ी हुई कीमतों को तत्काल वापस लेने की मांग की।

चंडीगढ़ । कांग्रेस ने पेट्रोल और डीजल की कीमत में वृद्धि के खिलाफ पंजाब और हरियाणा में पेट्रोप पंपों पर सांकेतिक विरोध प्रदर्शन कर बढ़ी हुई कीमतों को तत्काल वापस लेने की मांग की। पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने कहा कि पेट्रोल और डीजल के अलावा खाने के तेल, रसोई गैस जैसी दैनिक इस्तेमाल होने वाली वस्तुओं की कीमत में भी कई गुना वृद्धि हुई है। कांग्रेस ने अमृतसर, मोहाली, कुराली, पटियाला, बठिंडा, लुधियाना, जालंधर, पंचकूला, हिसार, गुरुग्राम, कैथल, अम्बाला, पानीपत, करनाल, फतेहाबाद, रोहतक और फरीदाबाद सहित दोनों राज्यों के विभिन्न स्थानों पर प्रदर्शन किया।

अमृतसर में कुछ प्रदर्शनकारियों ने एक पुरानी कार में आग लगा दी। प्रदर्शनकारियों का कहना था कि वे केंद्र सरकार को संदेश देना चाहते हैं, कि आम आदमी अब ईंधन की कीमतों में वृद्धि की वजह से वाहन रखने का खर्च नहीं उठा सकता। इस दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जुमलों की सरकार’,तेल की मार और ‘तेल का खेल लिखी तख्तियों को लेकर प्रदर्शन कर बढ़ी हुई कीमतें वापस लेने की मांग की। पंचकूला में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने नुक्कड़ नाटक के जरिये ईंधन और अन्य आवश्यक वस्तुओं की कीमत में वृद्धि से आम आदमी को होने वाली पीड़ा बताने का प्रयास किया।

हरियाणा के कैथल में कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व किया। इस दौरान ट्रैक्टर को बैलगाड़ी खींचते हुए नजर आई। सुरजेवाला ने कहा कि पेट्रोल और डीजल की कीमतों में उस समय वृद्धि हो रही है, जब देश की जनता महामारी से लड़ रही है। उन्होंने कहा कि ईंधन की कीमतों में तेजी से हुई वृद्धि से किसानों सहित समाज के विभिन्न वर्गों पर बुरा प्रभाव पड़ा है। हरियाणा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी शैलजा ने अम्बाला सिटी में प्रदर्शन का नेतृत्व किया।उन्होंने कहा कि भाजपा नीत सरकार आम आदमी की पीड़ा के प्रति असंवेदनशील है। पंजाब प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने कहा,केंद्र की अहंकारी सरकार मौजूदा संकट के समय में लोगों को राहत देने के बजाय लगातार ईंधन की कीमतों में वृद्धि कर रही है।’’

उन्होंने कहा, कांग्रेस नीत संप्रग सरकार के कार्यकाल के दौरान अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत बहुत अधिक थी, इसके बावजूद डीजल की कीमत 50 रुपये प्रति लीटर थी जो अब करीब 90 रुपये प्रति लीटर हो गई है जबकि पेट्रोल का दाम 100 रुपये प्रति लीटर के करीब पहुंच गया है।
मोदी सरकार ने पेट्रोल-डीजल पर 2.74 लाख करोड़ रुपये के कर वसूले

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने आरोप लगाया कि नरेंद्र मोदी सरकार ने कोविड-19 महामारी के दौरान पेट्रोल एवं डीजल पर 2.74 लाख करोड़ रुपये के कर वसूले, लेकिन जनता को कुछ नहीं मिला। इस पैसे से पूरे भारत को टीका (67000 करोड़ रुपये), 718 जिलों में ऑक्सीजन संयंत्र, 29 राज्यों में एम्स की स्थापना और 25 करोड़ गरीबों को छह-छह हजार रूपये की मदद मिल सकती थी। मगर मिला कुछ भी नहीं।’’