नशामुक्ति केंद्रों की एसओपी पर लगी रोक: हाईकोर्ट नैनीताल
नैनीताल| हाईकोर्ट नैनीताल ने देहरादून जिले में संचालित 15 नशा मुक्ति केंद्रों के मामले पर सोमवार को सुनवाई की। मामला सुनने के बाद न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी की एकलपीठ ने जिलाधिकारी देहरादून द्वारा जारी एसओपी पर फिलहाल रोक लगाते हुए याचिकाकर्ताओं के प्रत्यावेदन को छह सप्ताह के भीतर निस्तारित करने को कहा है।
एकलपीठ ने कहा है कि जब तक संबंधित प्रत्यावेदन निस्तारित नहीं हो जाता, तब तक ये केंद्र चलते रहेंगे।
एसओपी में नशा मुक्ति केंद्रों का पंजीकरण एवं नवीनीकरण क्लीनिकल इस्टैब्लिशमेंट (सीए) ऐक्ट में करने, पंजीकरण फीस 50 हजार और नवीनीकरण के लिए 25 हजार रुपये शुल्क, स्वास्थ्य विभाग का निरीक्षण सहित सीए के मानकों सहित कई अन्य बिंदुओं का पालन करने से जुड़े बिंदु शामिल थे।
याचिकाकर्ताओं का कहना है कि 22 नवंबर को उन्होंने एसओपी वापस लेने के लिए जिलाधिकारी देहरादून को प्रत्यावेदन भी दिया, लेकिन उस पर कोई सुनवाई नहीं हुई। ऐसे में कोर्ट से प्रार्थना है कि इस एसओपी को निरस्त किया जाए या इसमें संशोधन किया जाए।
सोमवार को सुनवाई में एकलपीठ ने फिलहाल डीएम देहरादून द्वारा जारी एसओपी पर रोक लगा दी है।