भारतीय स्टार्टअप्स के बड़े हिस्से पर फेसबुक की नजर
नई दिल्ली । फेसबुक इंडिया न केवल रिलायंस जियो में निवेश करने की तैयारी कर रही है बल्कि वह तेजी से बढ़ते और आकर्षक भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम के एक बड़े हिस्से में भी निवेश करने की योजना बना रही है। फेसबुक, सोशल कॉमर्स प्लेटफॉर्म मीशो और एडटेक एंटरप्राइज अनएकेडमी में अपने निवेश की तर्ज पर शुरुआती चरण की कंपनियों पर नजर रखे हुए है।
मीशो और अनएकेडमी दोनों ही यूनिकॉर्न बन गए हैं। फेसबुक इंडिया के एमडी अजीत मोहन का कहना है कि हम शुरुआती चरण के स्टार्टअप्स में निवेश के अवसरों की तलाश जारी रखेंगे, और हम ऐसे इनोवेटिव मॉडलों का समर्थन करने पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, जिनमें न केवल भारत में विकास की क्षमता है बल्कि जिन्हें वैश्विक स्तर पर भी बढ़ाया जा सकता है। संयोग से मीशो और अनएकेडमी दोनों ने यूनिकॉर्न का दर्जा हासिल कर लिया है, जिसका मतलब होगा कि फेसबुक के निवेश के लिए एक अप्रत्याशित लाभ होगा।
अप्रैल 2021 में अपने आखिरी फंडिंग राउंड के बाद मीशो की वैल्युएशन 2.1 अरब डॉलर थी। इस महीने अपने नवीनतम फंड-रेज के दौरान अनएकेडमी की वैल्यू 3.4 अरब डॉलर थी। ऐसा माना जाता है कि कंपनी आमतौर पर भारतीय स्टार्टअप में 2.5 करोड़ डॉलर से लेकर 5 करोड़ डॉलर के बीच निवेश करती है। इंडिया ओनली पहल में फेसबुक ने हाल ही में उन कंपनियों के लिए एक ‘लघु व्यवसाय ऋण पहल’ भी शुरू की, जो इसके प्लेटफॉर्म पर मौजूद हैं।
इससे उन्हें स्वतंत्र ऋण देने वाले भागीदारों के माध्यम से क्रेडिट तक तुरंत पहुंच मिल सकेगी। इंडिफी के साथ फेसबुक की साझेदारी के माध्यम से छोटे व्यवसायों को प्रति वर्ष 17-20 फीसदी की पूर्व-निर्धारित ब्याज दर पर 5 लाख रुपए से 50 लाख रुपए के बीच ऋण मिल सकता है और आवेदकों से इंडिफी द्वारा प्रोसेसिंग फीस नहीं ली जाएगी। महिलाओं के पूर्ण या आंशिक स्वामित्व वाले व्यवसायों के लिए ब्याज दर में 0.2 फीसदी की छूट है।